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ये विकिहाउ आपको आपके विंडोज कंप्यूटर की हाउसिंग के अंदर रैम मेमोरी कार्ड्स इन्स्टाल करके, रेंडम एक्सेस मेमोरी (Random Access Memory) या "RAM" बढ़ाना सिखाएगा। आप ऐसा लैपटाप और डेस्कटॉप दोनों पर भी कर सकते हैं, हालांकि सारे कम्प्यूटर्स एडिशनल रैम एड करने की इजाजत नहीं देते हैं। आप चाहें तो एक पोर्टेबल ड्राइव (मतलब, एक यूएसबी फ्लैश ड्राइव) का यूज करके रैम को टेम्पररी बढ़ा सकते हैं।
चरण
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अपने कंप्यूटर के मॉडल इन्फोर्मेशन की तलाश करें: खासतौर पर, आपको मैन्युफ़ेक्चरर के नेम, कंप्यूटर के टाइप और मॉडल नंबर के बारे में जानकारी निकालना है। इस इन्फोर्मेशन को पाने के लिए, ऐसा करें:
- Start खोलें
- उसमें system information टाइप करें
- System Information क्लिक करें
- "System Manufacturer", "System SKU", और "System Model" वैल्यूज को पाएँ।
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Crucial Memory Advisor वेबसाइट खोलें: अपने वेब ब्राउज़र में http://www.crucial.com/usa/en/advisor पर जाएँ। ये वेबसाइट आपको इस बात की एकदम सटीक जानकारी देगी, कि आपके रैम को अपग्रेड किया जा सकता है या नहीं, साथ ही अगर अपग्रेड किया जा सकता है, तो कितनी और किस टाइप की रैम का यूज किया जा सकता है।
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अपने कंप्यूटर मॉडल के लिए सर्च करें: ऐसा करने के लिए:
- select manufacturer बॉक्स क्लिक करें, फिर अपने कंप्यूटर के मैन्युफ़ेक्चरर के नाम (जैसे कि, Toshiba ) पर क्लिक करें।
- select product line बॉक्स क्लिक करें, फिर अपने कंप्यूटर के प्रोडक्ट नेम (जैसे कि, Encore ) क्लिक करें।
- select model बॉक्स क्लिक करें, फिर अपने कंप्यूटर के मॉडल नंबर पर क्लिक करें।
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find upgrade क्लिक करें: ये मॉडल नंबर बॉक्स के नीचे मौजूद एक ब्लू बटन होती है।
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रिजल्ट्स को रिव्यू करें: रिजल्ट्स पेज पर, आपको तीन जरूरी इन्फोर्मेंशन नजर आएंगी:
- Maximum RAM - पेज के अपर लेफ्ट साइड में, आपको एक "Maximum Memory: # GB" सेक्शन नजर आएगा। यहाँ पर मौजूद नंबर, आपके द्वारा इन्स्टाल की जा सकने लायक रैम का मैक्सिमम अमाउंट होगा।
- Type of RAM - पेज में सबसे ऊपर "Compatible Memory" हैडिंग के नीचे आपको रैम प्रोडक्ट के टाइटल की लिस्ट में इनमें से कोई एक रैम का टाइप नजर आएगा: SDRAM, DDR या RDRAM
- RAM speed - आपको रैम टाइप के राइट में एक नंबर (जैसे कि, DDR3 ) नजर आएगा। ये आपके कंप्यूटर के द्वारा सपोर्ट की जाने वाली स्पीड है—इस नंबर से आगे मत जाएँ!
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कंपेटिबल रैम खरीद लें: एक बार जब आपको रैम टाइप, इन्स्टाल हो सकने लायक मैक्सिमम अमाउंट और आपके कंप्यूटर के लिए जरूरी स्पीड मालूम हो जाए, तो फिर अप किसी भी टेक डिपार्टमेन्ट स्टोर (जैसे कि, Best Buy) या ऑनलाइन स्टोर (जैसे कि, Amazon) से रैम खरीद सकते हैं।
- ऑनलाइन रैम खरीदना, इसे स्टोर पर से खरीदने के मुक़ाबले सस्ता होता है, लेकिन टेक स्टोर एम्प्लोयीज, आपकी मशीन के लिए जरूरी रैम के टाइप के बारे में ज्यादा अच्छी समझ रखते हैं।
- ज़्यादातर कम्प्यूटर्स पर पेयर्स में रैम इन्स्टाल करना होता है। इसका मतलब, अगर आप 8 जीबी (GB) रैम इन्स्टाल करना चाहते हैं, तो इसके लिए आपको 4 जीबी के दो (या फिर 2 जीबी के चार) कार्ड्स लेने होंगे।
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7टेक डिपार्टमेन्ट पर से ही अपने लिए रैम इन्स्टाल कराकर लेने के बारे में सोचें: जब आप रैम खरीद लें, तो आपको टेक डिपार्टमेन्ट से ही किसी से अपने लिए इसे इन्स्टाल करके देने के लिए बोलना चाहिए, क्योंकि उनके पास में आप से कहीं ज्यादा एक्सपीरियंस रहता है। अगर नहीं है, तो फिर अपने लैपटाप या डेस्कटॉप पर रैम इन्स्टाल करना शुरू करें।
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अपने कंप्यूटर को बंद कर दें: ऐसा करने के लिए Start खोलें, Power क्लिक करें और फिर Shut down क्लिक करें।
- आगे बढ़ने से पहले, अपने कंप्यूटर की आवाज बंद होने का इंतज़ार करें।
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2किसी भी केबल्स या दूसरे अटेचमेंट्स को निकाल दें: इसमें पावर केबल, कोई भी यूएसबी अटेचमेंट्स, ईथरनेट केबल्स और ऐसी ही दूसरी चीज़ें शामिल हैं।
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अपने आप को ग्राउंड (बिजली के झटके से बचाने के लिए) कर लें: ये आपको गलती से अपने कंप्यूटर के अंदर मौजूद स्टेटिक इलेक्ट्रिसिटी वाले कम्पोनेंट्स से बचा लेगा।
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लैपटाप के बॉटम पैनल को हटा दें: कुछ लैपटाप्स में खास रैम के लिए एक पैनल होता है, वहीं कुछ में लैपटाप के पूरे निचले हिस्से को निकालना होता है। इसे हैंडल करने के खास तरीके के बारे में जानने के लिए, अपने लैपटाप के मेन्युअल या ऑनलाइन डॉक्यूमेंटेशन को देख लें।
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ओरिजिनल रैम कार्ड्स हटा लें: जैसे कि ज़्यादातर लैपटाप्स में सिर्फ दो रैम स्लॉट्स ही होते हैं, इसलिए आपको पुरानी रैम को निकालना होगा। ऐसा करने के लिए, दबाने के लिए किसी लेवर या बटन को ढूँढें या अगर कोई भी बटन मौजूद नहीं है, तो रैम कार्ड्स को आराम से उनके स्लॉट्स से निकाल लें।
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रैम कार्ड्स को उनके प्रोटेक्टिव बैग से निकाल लें: आपके द्वारा रैम कार्ड्स को सिर्फ उनकी साइड एजेस से ही टच करने की पुष्टि कर लें, ताकि आप आप से गलती से कांटैक्ट्स या सर्किटरी पर ऑइल, डस्ट या स्किन पार्टिकल्स न लगने पाएँ।
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अपनी नई रैम इन्स्टाल कर लें: रैम सॉकेट की जगह पर नए कार्ड्स को लगा लें, फिर कार्ड को आराम से अंदर और नीचे (अगर जरूरत हो) दबा दें, ताकि ये एकदम सीधा लग जाए। अगर एप्लिकेबल हो, तो अगले रैम कार्ड के लिए भी इसी प्रोसेस को रिपीट करें।
- डेस्कटॉप रैम से विपरीत, लैपटाप रैम को हमेशा ही एक मैचिंग पेयर की तरह इन्स्टाल किया जाना जरूरी नहीं होता, हालांकि इसके लिए एक कंसिस्टेंट स्पीड की जरूरत जरूर होती है।
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बॉटम पैनल को रिप्लेस कर लें, फिर अपने लैपटाप को ऑन कर लें: आप चाहें तो System Properties विंडो को खोलने के लिए, ⊞ Win + Pause को दबाकर अपने ऑपरेटिंग सिस्टम के द्वारा अपनी रैम के पहचाने जाने की जांच कर सकते हैं; आपको "Physical Memory" हैडिंग के सामने अपनी रैम लिस्ट में नजर आएगी।
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अपने कंप्यूटर को बंद कर दें: ऐसा करने के लिए, Start खोलें, Power क्लिक करें और फिर Shut down क्लिक करें। अगर आपके डेस्कटॉप पर एक मास्टर स्विच भी है, तो इस स्विच के "Off" पर सेट होने की पुष्टि कर लें।
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2किसी भी केबल्स या दूसरे अटेचमेंट्स को निकाल दें: इसमें पावर केबल, कोई भी यूएसबी अटेचमेंट्स, ईथरनेट केबल्स और ऐसी ही दूसरी चीज़ें शामिल हैं।
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अपने आप को ग्राउंड (बिजली के झटके से बचाने के लिए) कर लें: ये आपको गलती से अपने कंप्यूटर के अंदर मौजूद स्टेटिक इलेक्ट्रिसिटी वाले कम्पोनेंट्स से बचा लेगा।
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कंप्यूटर केस को खोलें: ये आपको आपके रैम स्लॉट्स को और मौजूदा इन्स्टाल्ड मॉड्यूल्स को देखने देगा, जो आपके लिए नई रैम को चुनना आसान बना देगा।
- अपने कंप्यूटर को खोलने के बारे में इन्फोर्मेशन इकट्ठी कर लें।
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अगर जरूरत हो, तो मौजूदा रैम को निकाल लें: अगर आप बड़ी जगह बनाने के लिए, पुराने मॉड्यूल्स को निकाल रहे हैं या फिर एक फास्ट स्पीड पाने के लिए उन्हें अपग्रेड करना होगा, आप हर एक साइड पर मौजूद लैच को रिलीज करके, या फिर अगर वहाँ पर लैच नहीं है, तो वहाँ आराम से रैम लगाकर, उन्हें बहुत आसानी से निकाल सकते हैं। एक बार जब लैच रिलीज हो जाएँ, फिर आप रैम कार्ड्स को सीधे बाहर खींच सकते हैं।
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रैम कार्ड्स को उनके प्रोटेक्टिव बैग से निकाल लें: आपके द्वारा रैम कार्ड्स को सिर्फ उनकी साइड एजेस से ही टच करने की पुष्टि कर लें, ताकि आप आप से गलती से कांटैक्ट्स या सर्किटरी पर ऑइल, डस्ट या स्किन पार्टिकल्स न लगने पाएँ।
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नए कार्ड की नोच को, रैम स्लॉट के ब्रेक के साथ लाइन अप कर लें: रैम को सिर्फ एक ही डाइरैक्शन में इन्सर्ट किया जा सकता है, इसलिए स्लॉट और मॉड्यूल के लाइन अप होने की पुष्टि कर लें।
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रैम कार्ड को आराम से स्लॉट में दबा दें: कार्ड के ऊपर एक-समान प्रैशर अप्लाई करें, लेकिन उसे फोर्स मत करें। ज़्यादातर मामलों में, उनमें किसी भी एक साइड पर लैच मौजूद होगी, जो रैम कार्ड के सही ढंग से इन्स्टाल होने के बाद, उन्हें सही जगह पर ले जाएगा।
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दूसरे मैचिंग रैम कार्ड को इन्स्टाल करें: मैचिंग कार्ड के, आपके द्वारा पहले इन्स्टाल किए हुए रैम कार्ड के स्लॉट से मैच होने की पुष्टि कर लें। ज़्यादातर स्लॉट्स के मैचिंग पेयर्स अलग-अलग कलर्स से दर्शाए गए होते हैं या फिर मदरबोर्ड पर प्रिंट के साथ लेबल होते हैं। आपके मदरबोर्ड के मेन्युअल में डायग्राम भी हो सकते हैं।
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अपने कंप्यूटर को बंद कर दें: इस पॉइंट पर, अब आप अपनी उन सारी केबल्स, यूएसबी आइटम्स और पेरिफेरल्स को वापस प्लग कर सकते हैं, जिन्हें आपने पहले प्लग किया हुआ था।
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कंप्यूटर को ऑन कर दें: आप चाहें तो System Properties विंडो को खोलने के लिए, ⊞ Win + Pause को दबाकर अपने ऑपरेटिंग सिस्टम के द्वारा अपनी रैम के पहचाने जाने की जांच कर सकते हैं; आपको "Physical Memory" हैडिंग के सामने अपनी रैम लिस्ट में नजर आएगी।
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1अपनी यूएसबी ड्राइव को अपने कंप्यूटर पर लगा दें: आपकी फ्लैश ड्राइव या हार्ड ड्राइव को अपने कंप्यूटर के किसी एक यूएसबी स्लॉट्स में लगाया जाना चाहिए।
- एक लैपटाप पर, यूएसबी स्लॉट्स आमतौर पर लैपटाप की हाउसिंग की साइड्स पर होते हैं।
- एक डेस्कटॉप पर, आप यूएसबी स्लॉट्स को सीपीयू (CPU) बॉक्स के सामने या पीछे या फिर कीबोर्ड जैसे दूसरे पेरिफेरल पर पा सकते हैं।
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स्टार्ट (Start) खोलें: स्क्रीन के बॉटम-लेफ्ट कॉर्नर में मौजूद विंडोज लोगो को क्लिक करें।
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फ़ाइल एक्सप्लोरर (File Explorer) खोलें: स्टार्ट विंडो के बॉटम-लेफ्ट साइड में मौजूद फोल्डर-शेप के आइकॉन को क्लिक करें।
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This PC क्लिक करें: ये फ़ाइल एक्सप्लोरर (File Explorer) विंडो के लेफ्ट साइड में मौजूद होगा।
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अपनी यूएसबी ड्राइव को सिलेक्ट करें: आपके द्वारा अटेच की हुई यूएसबी ड्राइव के नाम को क्लिक करें। ये आमतौर पर एक "F:" की तरह दिखता है, जो सिर्फ एक्सटर्नल स्टोरेज के अटेच होने पर ही नजर आता है।
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Computer क्लिक करें: ये विंडो के अपर-लेफ्ट साइड पर मौजूद एक टैब होता है। Computer टैब के ठीक नीचे आपको एक टूलबार आया दिखेगा।
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Properties क्लिक करें: ये रेड चेकमार्क बना व्हाइट बॉक्स, टूलबार के लेफ्ट साइड पर मौजूद होगा। अब आपके सामने फ्लैश ड्राइव की प्रॉपर्टीज (Properties) विंडो खुल जाएगी।
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ReadyBoost टैब को क्लिक करें: ये प्रॉपर्टीज विंडो में सबसे ऊपर मौजूद होगा।
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"Use this device" बॉक्स को चेक करें: आप इसे पेज के बीच में देखेंगे। ऐसा करने से विंडोज, रैम के लिए आपके फ्लैश ड्राइव पर मौजूद मैक्सिमम स्पेस का यूज कर सकेगा।
- आप अपने कंप्यूटर की केपेसिटी से ज्यादा का यूज नहीं कर सकेंगे।
- आपको शायद ReadyBoost के द्वारा आपकी फ्लैश ड्राइव की इन्फोर्मेशन को दिखाने का इंतज़ार करना पड़ सकता है।
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Apply क्लिक करें, फिर OK क्लिक करें: ये दोनों ही विंडो में सबसे नीचे मौजूद होंगे। ऐसा करते ही आपकी सेटिंग्स सेव हो जाएंगी और यूएसबी ड्राइव की फ्री स्पेस को रैम के इस्तेमाल के लिए अप्लाई कर दिया जाएगा।
- एक बार, जब आप यूएसबी ड्राइव को हटा लें, फिर अगर आप इसे फिर से रैम की तरह यूज करना का फैसला करते हैं, तो आपको इसे रैम की तरह सेट करने के लिए वापस ReadyBoost मेन्यू पर जाना होगा।
सलाह
- कुछ कंप्यूटर सिस्टम्स एक खास अमाउंट से ज्यादा रैम को सपोर्ट नहीं करते हैं, उदाहरण के लिए, विंडोज के 32-bit वर्जन्स 4 GB रैम से ज्यादा को यूज नहीं कर सकते हैं, इसलिए 4 GB से ज्यादा रैम इन्स्टाल करना, एक बरबादी मात्र ही है।
चेतावनी
- अगर आपका कंप्यूटर अपग्रेड नहीं हो सकता है, तो फिर जबर्दस्ती में अपग्रेड करने की कोशिश भी मत करें। ऐसा करने से आपके कंप्यूटर की परफ़ोर्मेंस बेहतर होने के बजाय, उल्टा और खराब हो जाएगी।
- आपको करंट न लगे, इसी वजह से पावर कॉर्ड को प्लग करते वक़्त, पावर सप्लाई को बंद करने की पुष्टि करना इतना जरूरी होता है। जब पावर सप्लाई ऑन रहती है और ये वाल सॉकेट पर प्लग इन होती है, फिर चाहे कंप्यूटर बंद ही क्यों न हो, करंट की वजह से हीट भी हो सकती है; रजिस्टर्स कम्पोनेंट्स और मदरबोर्ड्स के बीच करंट को बैलेंस करते हैं। अगर करंट बहुत तेज है, तो उनमें से कुछ रजिस्टर्स ओवरहीट और ब्रेक हो सकते हैं, जो काम करने वाले के करंट को बढ़ा देते हैं। एक उदाहरण के तौर पर, अगर आपके कंप्यूटर की एवरेज पावर कंजम्प्शन 550 watts (जो ज़्यादातर सभी कम्प्यूटर्स में होती है) है, 750w पावर सप्लाई कनेक्ट करने और इसके सेन्सर्स को बायपास करना और प्रोटेक्शन सर्किट्स की वजह से कोई भी प्रॉब्लम नहीं होती है (कम से कम कुछ मिनट्स के लिए, तो बिल्कुल भी नहीं), लेकिन एक 1500w पावर सप्लाई के साथ ठीक ऐसा ही करना, अगर आपके कंप्यूटर पर पावर खाने वाले ग्राफिक्स कार्ड्स नहीं हैं, तो चीजों को खराब कर सकते हैं।
- आपकी मदरबोर्ड रैम के किस फिजिकल साइज़ और टाइप को सपोर्ट करती है, को चेक करें, अगर रैम मॉड्यूल्स स्लॉट पर फिट नहीं आते हैं, तो इन्हें जबर्दस्ती में फिट मत करें, किसी भी पेरिफेरल को धकेलकर मदरबोर्ड के अंदर डालने की कोशिश करने से, मदरबोर्ड बीच से आधे में टूट सकती है और इससे चीज़ें टूट भी जाएंगी।
- इस तरह के हार्डवेयर इन्स्टालेशन करते वक़्त, पावर कॉर्ड को कभी भी पावर सप्लाई में प्लग इन किया हुआ मत छोड़ें। जब पावर सप्लाई वाल सॉकेट से लगा हुआ रहता है, तब उसमें से करंट गुजर रहा होता है और फिर चाहे ये करंट आपके कंप्यूटर को ऑन करने के हिसाब से कितना भी वीक क्यों न हो, लेकिन ये आपको एक हल्का सा झटका और शॉर्ट सर्किट कनेक्टर्स जरूर दे सकता है।
- आपके द्वारा एंटी-स्टेटिक बैंड पहने हुए होने या फिर कम से कम किसी भी तरीके से स्टेटिक इलेक्ट्रिसिटी से फ्री होने की पुष्टि कर लें। स्टेटिक इलेक्ट्रिसिटी सीधे मदरबोर्ड को और मदरबोर्ड से जुड़े हुए किसी भी पेरिफेरल्स और कम्पोनेंट्स को सीधे जला डालेगा।
- जब तक आप पावर कंजंप्शन को लेकर फैमिलियर न हों और आपकी रिक्वायर्मेंट्स को पूरा करने के लिए कितने पावरफुल पावर की जरूरत है, मालूम न हो, तब तक अपनी तरफ से सावधानी बरतना, जोखिम उठाने से बेहतर होगा; पावर सप्लाईस अगर फेल हो जाएँ और आपका सिस्टम ओवरलोड हो जाए, तो इन से आग लगने का खतरा बना रहता है।
- पावर कॉर्ड को वापस प्लग इन करने से पहले, पावर सप्लाई (अगर उस पर पावर बटन हो) के बंद होने की पुष्टि कर लें। पावर सप्लाई जब भी चालू रहती हैं तब वो हमेशा सेल्फ टेस्ट चालू रखती हैं या हर एक चीज़ के सही ढ़ंग से काम कर रहे होने की पुष्टि के लिए पावर लेते रहती हैं।
- अगर पावर कॉर्ड प्लग इन करते वक़्त आपके पावर सप्लाई ऑन रहते हैं, तो ये मैक्सिमम पावर ले रहा होगा और ये मदरबोर्ड पर करंट भी (जिसे डिस्चार्ज करंट के नाम से भी जाना जाता है) सप्लाई कर रहा होगा; क्योंकि पावर कॉर्ड को प्लग इन करते वक़्त पावर सप्लाई चालू हो जाती है, प्रोटेक्शन चिप्स और सेंसर्स, जो डिस्चार्ज करंट को लिमिट करते हैं, वो शायद भरपूर तेज़ी से एक्टिवेट नहीं होंगे और जिसकी वजह से चीज़ें ओवरलोड हो जाती हैं।
- जब आपके पावर सप्लाई बंद रहते हैं और आप पावर कॉर्ड को प्लग इन करते हैं, सारे बिल्ट-इन सेंसर और प्रोटेक्शन चिप्स खुद को तेज़ी से एक्टिवेट कर लेते हैं और करंट को इक्वल ढ़ंग से बाँटकर ओवरलोडिंग को रोके रखते हैं।